अनादि न्यूज़

सबसे आगे सबसे तेज

छत्तीसगढ़ प्रदेश प्रशासन

बीजापुर में 87.50 लाख के इनामी 24 हार्डकोर नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण

अनादि न्यूज़ डॉट कॉम, बीजापुर। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित बीजापुर जिले में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की उपस्थिति में एक बड़ी और ऐतिहासिक घटना सामने आई है। जिले में सक्रिय 24 हार्डकोर नक्सलियों ने शनिवार को आत्मसमर्पण कर मुख्यधारा में लौटने का निर्णय लिया। इन सभी नक्सलियों पर कुल मिलाकर ₹87 लाख 50 हजार का इनाम घोषित था। आत्मसमर्पण करने वाले 24 नक्सलियों में से 20 के ऊपर अलग-अलग स्तर के इनाम थे, जिनमें ₹50 हजार से लेकर ₹10 लाख तक के इनाम शामिल हैं।

नक्सलवाद से समाज की मुख्यधारा की ओर वापसी

आत्मसमर्पण की इस घटना को छत्तीसगढ़ सरकार की “नवीन आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति – 2025” और “नियद नेल्ला नार योजना” की बड़ी सफलता माना जा रहा है। इन योजनाओं के माध्यम से सरकार नक्सल प्रभावित युवाओं को मुख्यधारा से जोड़ने, उन्हें सामाजिक पुनर्वास का अवसर देने और एक सम्मानजनक जीवन की ओर अग्रसर करने के लिए लगातार प्रयास कर रही है।

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने इस मौके पर कहा, “यह केवल आत्मसमर्पण नहीं, बल्कि एक नई शुरुआत है। यह दर्शाता है कि हमारी नीति और मंशा कितनी कारगर और सकारात्मक दिशा में कार्य कर रही है। हम इन आत्मसमर्पित नक्सलियों के पुनर्वास व पुनरुत्थान के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं।”

इनमें से कुछ कुख्यात नाम निम्नलिखित हैं:

संजू कश्यप (इनामी – ₹10 लाख)

मधु कवासी (इनामी – ₹5 लाख)

सीता पदम (इनामी – ₹3 लाख)

धीरू नेताम (इनामी – ₹1 लाख)
नियद नेल्ला नार योजना छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा शुरू की गई एक लोक कल्याणकारी योजना है, जिसका उद्देश्य है नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में युवाओं को पुनर्वास, कौशल विकास, शिक्षा, स्वास्थ्य और आजीविका के साधनों से जोड़ना। इस योजना के तहत आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को सम्मानजनक पुनर्वास, मासिक भत्ता, स्वरोजगार हेतु वित्तीय सहायता, और शिक्षा-स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई जाती हैं।

See also  Horoscope Today 15 August: कन्या, तुला और वृश्चिक राशि वालों के लिए दिन रहेगा उत्तम, जानें अन्य राशियों का हाल

समापन में मुख्यमंत्री का संदेश
मुख्यमंत्री साय ने समापन भाषण में कहा, “नक्सलवाद से पीड़ित क्षेत्र अब बदलाव की ओर अग्रसर है। अब बंदूक की जगह किताब, बम की जगह हल, और डर की जगह विकास की बात होगी। हमारी सरकार बस्तर को हिंसा मुक्त और समृद्ध बनाकर ही दम लेगी।” इस कार्यक्रम में बीजापुर के कलेक्टर, वरिष्ठ पुलिस अधिकारी, सुरक्षाबलों के प्रतिनिधि, पुनर्वास विभाग के अधिकारी और बड़ी संख्या में ग्रामीण नागरिक उपस्थित रहे। सभी ने इस पहल की सराहना करते हुए इसे क्षेत्र में शांति की ओर बढ़ता कदम बताया।